"महानत्यागी बाबा जुमदेवजींचे संदेश"
[ संदेश दि.११/१२/१९७१ ]
महानत्यागी बाबा जुमदेवजी इनके निवासस्थान पर भगवत कृपा प्राप्ती के बाद हर शनिचर को निराकार बैठक होती थी। निराकार बैठक में बाबा देहभान अवस्था में रहते थे। उस समय उन्होने किये हुए मार्गदर्शन से सेवकों को संदेश मिलता था। उनमें से कुछ विशेष संदेश इस पाठ में दिये है। (जो मुलतः हिन्दी में ही है।)
[ संदेश दि.११/१२/१९७१ ]
"बाबा बोलता वह भगवान बोलता। भगवान बोलता वह बाबा बोलता है बाबाने दिये हुये नियम को जागना भगवान को जागना है"।
लिखने में कुछ गलती हुई हो तो में "भगवान बाबा हनुमानजी"और "महानत्यागी बाबा जुमदेवजी" से क्षमा मांगता हूं।
टिप:- ये पोस्ट कोई भी कॉपी न करे, बल्कि ज्यादा से ज्यादा शेयर करें।
🔸 ऊपर लिखित आवरण "मानवधर्म परिचय" पुस्तक ( हिंदी ) सुधारित द्वितीय आवृत्ती से है।
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